देहरादून: इस वर्ष चारधाम यात्रा में चलने वाले व्यवसायिक वाहनों के ग्रीन कार्ड वाहनों की फिटनेस जांचने के बाद ही जारी किए जाएंगे। ग्रीन कार्ड बनाने के लिए पोर्टल http://greencard.uk.gov.in/ सोमवार से शुरू हो गया है।पोर्टल में ग्रीन कार्ड बनाने संबंधी जरूरी जानकारी डालने और फीस जमा करने के बाद एक रसीद जारी होगी। इसे लेकर आवेदकों को आरटीओ कार्यालय जाना होगा,जहां वाहन की फिटनेस के बाद ग्रीन कार्ड जारी कर दिया जाएगा।हरिद्वार बाईपास मार्ग स्थित सहायक परिवहन कार्यालय में सोमवार को चार धाम यात्रा में संचालित वाहन को पहला ग्रीन कार्ड परिवहन एवं समाज कल्याण मंत्री चंदन राम दास ने जारी किया।
इस दौरान उन्होंने एआरटीओ परिसर में स्थित नवनिर्मित चारधाम यात्रा प्रशिक्षण केंद्र का भी लोकार्पण किया। उत्तराखंड के परिवहन मंत्री चंदन रामदास ने कहा कि चार धाम यात्रा हमारे लिए एक बड़ी चुनौती है। पिछले वर्ष 47 लाख श्रद्धालु यहां आए थे। इस बार यह संख्या बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि पिछले वर्ष अत्यधिक भीड़ के कारण बसों की की परेशानी उठानी पड़ी थी। इस बार हम पहले से ही व्यवस्था करके चल रहे हैं।
चार धाम यात्रा में स्कूल बस नहीं भेजी जाएगी, बल्कि अन्य प्रांतों से 350 वाहन हम आरक्षित रखेंगे।परिवहन निगम की पिछली बार 90 बस सेवा उपलब्ध कराई गई थी इस बार यह संख्या 120 कर दी गई है। 12 अप्रैल को सभी परिवहन कंपनियों और एजेंसियों के साथ बैठक कर आवश्यक तैयारी पूर्ण कर ली जाएगी।कार्यक्रम में मेयर ऋषिकेश अनीता ममगाईं, भाजपा जिला अध्यक्ष रविंद्र राणा,मंडल अध्यक्ष सुमित पवार, जिला मंत्री पंकज शर्मा, एआरटीओ प्रशासन अरविंद पांडे, एआरटीओ परिवर्तन मोहित कोठारी आदि भी मौजूद रहे।
गत वर्ष छोटे वाहनों के ग्रीन कार्ड में अनिवार्य फिटनेस की शर्त नहीं थी। प्रदेश में इस वर्ष चारधाम यात्रा 22 अप्रैल से शुरू हो रही है। यात्रा पर जाने वाले व्यावसायिक वाहनों के कागजात और फिटनेस जांचने के बाद ग्रीन कार्ड जारी किया जाता है।ग्रीन कार्ड के आधार पर ही आवेदकों को यात्रा मार्ग पर वाहन चलाने की अनुमति दी जाती है। गत वर्ष 22 हजार वाहनों के ग्रीन कार्ड जारी किए गए थे। इनमें 12 हजार कार्ड राज्यों के वाहनों और आठ हजार कार्ड दूसरे राज्य के वाहनों को जारी किए गए थे।आवेदक को ग्रीन कार्ड बनाने के लिए जारी वेबसाइट पर जाना होगा।
यहां वह अपने वाहन का नंबर और चेसिस नंबर डालेगा। ऐसा करने से वाहन साफ्टवेयर से वाहन की सारी जानकारी आ जाएगी।यह भी पता चल सकेगा कि वाहन के सभी कागजात सही हैं या नहीं। इसके बाद वह आनलाइन फीस जमा करेगा, जिस पर उसे एक रसीद मिलेगी। रसीद के साथ वह वाहन को लेकर आरटीओ कार्यालय जाएगा, जहां वाहन की फिटनेस के बाद ग्रीन कार्ड जारी कर दिया जाएगा।यात्रियों को सहूलियत देने के लिए परिवहन विभाग का यह पोर्टल पर्यटन विभाग की वेबसाइट में भी खुल सकेगा। यहां यात्रा का पंजीकरण कराने वाले यात्रियों को ग्रीन कार्ड बनाने का विकल्प भी नजर आएगा, जिसमें जाकर वे उपरोक्त प्रक्रिया अपनाते हुए ग्रीन कार्ड की रसीद प्राप्त कर सकेंगे।
व्यावसायिक वाहनों को ट्रिप कार्ड बनाना जरूरी होगा। इसके लिए वह पोर्टल में ही ट्रिप कार्ड के आप्शन पर जाकर अपना लाइसेंस नंबर और जन्मतिथि डालेगा। इससे उसके लाइसेंस के संबंध में सारी जानकारी आ जाएगी।इससे यह पता चल सकेगा कि किस वाहन में कितने लोग किस तिथि को यात्रा पर जा रहे हैं। विभाग चेकपोस्ट पर भी जांच आसान करने की प्रक्रिया अपना रहा है।